उत्तर प्रदेश: गोरखपुर जिला अस्पताल की मोर्चरी में डीप फ्रीजर होने की बावजूद अस्पताल के कर्मचारियों ने एक लाश को फर्श पर छोड़ दिया जिसे रातभर चूहे कुतरते रहे। सुबह घरवालों ने शव का चेहरा कुतरा हुआ देखा तो भड़क गए और जमकर हंगामा किया। सीएमओ-एसआईसी के घेराव के बाद मामले की जांच के आदेश दे दिए गए हैं। सीएमओ ने तीन सदस्यीय जांच कमेटी बनाई है जिसमें दो एडिशनल सीएमओ शामिल हैं।
जानकारी के अनुसार, रामगढ़ताल थाना क्षेत्र के बड़गो इलाके के सेंदुली-बेंदुली गांव निवासी सुमित गौड़ (21) और महबूब सिद्दीकी (20) गांव में दुर्गा पूजा में मूर्ति रखने की तैयारी में जुटे थे। मंगलवार को बारिश का पानी निकालने के लिए पिकअप से पंपिंग सेट लेने गए थे। खोराबार थानाक्षेत्र के जगदीशपुर फोरलेन पर पिकअप पलट गई और इस हादसे में सुमित और महबूब सिद्दीकी की मौत हो गई। रात होने की वजह से सुमित और महबूब का शव मोर्चरी में रखवा दिया गया।
बताया जाता है कि मंगलवार की रात में मोर्चरी में तैनात कर्मचारियों ने सुमित का शव डीप फ्रीजर में रखने के बजाय फर्श पर ही छोड़ दिया। शव को रात भर चूहे कुतरते रहे। चूहों ने सुमित के शव का चेहरा और नाक बुरी तरह से कुतर दिया। बुधवार सुबह परिजन पंचनामा करवाने के लिए अस्पताल पहुंचे और पुलिस की मौजूदगी में मोर्चरी का दरवाजा खोला गया तो परिजन शव की हालत देखकर बदहवास रह गए। शव की हालत देखकर परिजन सीएमओ कार्यालय पहुंचे और हंगामा किया।
परिजनो का आरोप है कि डीप-फ्रीजर में शव रखा जाता तो यह हाल नहीं होता। स्वास्थ्य विभाग की लापरवाही से इस तरह की आमनवीय घटना हुई है।सीएमओ ने बताया कि डीप-फ्रीजर सही है।डीप-फ्रीजर खराब होने की वजह से सुमित का शव बाहर जमीन पर रखा गया था और महबूब का शव डीप-फ्रीजर में था। सीएमओ डॉ.आशुतोश कुमार दुबे ने कहा कि दो युवकों के शव मर्चरी में रखने की जानकारी मिली है। चूहों द्वारा एक शव कुतरने की बात परिजनों ने बताई है। एडिशनल सीएमओ डॉ. एके चौधरी ने जांच कमेटी बनाई गई है। कमेटी को दो दिन के अंदर रिपोर्ट देने को कहा गया है।