शर्मनाकǃ FIR के लिए ओलंपिक पदक जीतने वाली महिला खिलाड़ियों को रातभर सड़क पर सोना पड़ा

आँखों देखी
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FIR दर्ज कराने के लिए जंतर-मंतर पर खुले आसमान के नीचे सोती महिला पहलवान

New Delhi: हमें यह सोचकर शर्म आनी चाहिए कि देश में ओलंपिक पदक जीतने वाली महिला खिलाड़ियों को महज एक FIR दर्ज कराने के लिए जंतर-मंतर पर खुले आसमान के नीचे सोना पड़े। क्योंकि जिसके खिलाफ FIR के लिए तहरीर दी गई है वह बीजेपी का सांसद है और कुश्ती महासंघ का अध्यक्ष है।  ऊपर दिखाई दे रही इस तस्वीर को देखकर आप उस राष्ट्र का शुक्रिया जरूर अदा कीजिए जिसे धर्म के नाम पर आपने कहां पहुंचा दिया है।

यह तस्वीर ओलंपिक खिलाड़ी विनेश फोगाट ने शेयर की है‚ इसमें वह खुद भी सड़क पर सोती नजर आ रही है।  क्या अपने गोदी मीडिया का कैमरा बीजेपी के सांसद बृजभूषण सिंह के घर के बाहर देखा कि जवाब दीजिए‚ आप पर महिला खिलाडियों के यौन शोषण का आरोप है। क्या आपने गोदी मीडिया को खेल मंत्री के पीछे भागता हुआ देखा है कि जवाब दीजिए यह क्या हो रहा है। उम्मीद है आपने नही देखा होगा। 

जब कोई पदक जीतता है तो कहा जाता है देश का गौरव बढ़ाया है‚ लेकिन जब पदक जीतने वाले खिलाड़ी आरोप लगाएं की महिला पहलवानों के खिलाफ कथित रूप से यौन शोषण किया गया तो आरोपी के खिलाफ एफ आई आर दर्ज नहीं की जाती है‚ बल्कि कमेटी बनाई जाती है।  कुश्ती खिलाड़ी सड़क पर सो रही हैं‚ लेकिन देश का प्रधानमंत्री चुप्पी साधे हुए है।

बृजभूषण सिंह

मोदी की पार्टी के सांसद और भारतीय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष पर यौन शोषण करने का आरोप लगा है लेकिन तब भी प्रधानमंत्री नहीं बोल रहे हैं।  बोलना तो छोड़िए बीजेपी के सांसद बृजभूषण सिंह के खिलाफ अभी तक FIR तक दर्ज नहीं हुई है।  ऐसा लगता है कि अब बृजभूषण सिंह को ही मजबूत नेता घोषित कर दिया जाएगा और उनके सामने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को लाचार नेता घोषित किया जाएगा। 

लगता है बीजेपी नेता जल्दी ही कोई नया तर्क खोज कर लाएंगे कि बृजभूषण सिंह के खिलाफ आरोप लगाना भारत पर आरोप लगाने के बराबर है।  भारत की सुरक्षा से खिलवाड़ है और यह भारत को बदनाम करने की साजिश है।  इस तरह से फार्मूला निकाला जाएगा कि भारत ही बृजभूषण है‚ बृज भूषण ही भारत है।

सवाल यह है कि आखिर दिल्ली पुलिस बृजभूषण सिंह खिलाफ एफ आई आर दर्ज क्यों नहीं कर रही है और क्यों उनके घर पूछताछ के लिए नहीं गई है। 

यह वो सवाल है जिसे मीडिया‚ और जनता को सरकार से पूछना चाहिए। लेकिन हैरानी की बात यह है कि चारों ओर शांन्ति है। जवाब जरूर तलाश जरूर करिएगा।

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