उत्तर प्रदेश: मेरठ जिले के दौराला थाना क्षेत्र में 9 सितंबर को मिले सिर और हाथ कटे शव को लेकर बुधवार को दिनभर जमकर हंगामा हुआ। परिजनों ने शव की पहचान मंसूरपुर के नोना गांव निवासी मोंटी (24) पुत्र सुरेश के रूप में कर डाली। शव के अंतिम संस्कार कराने को लेकर परिजनों ने जमकर हंगामा किया और शव लेकर मंसूरपुर चले गए। रात 12.30 बजे जिस शव को मोंटी का बताया जा रहा था उसको पुलिस ने चंडीगढ़ से प्रेमिका के साथ बरामद कर लिया। जिसके पश्चात शव को वापस दौराला लाया गया।
जानकारी के अनुसार, दौराला थाना क्षेत्र के सरदार पटेल कृषि विवि-पबरसा रोड पर नाले से 9 सितंबर को एक सिर और हाथ कटा शव बरामद हुआ था। दौराला पुलिस ने शव को मोर्चरी भेजते हुए उसकी पहचान कराने के लिए फेसबुक और वाट्सअप पर बनाए ग्रुपो में फोटो भेज दिए। मंसूरपुर पुलिस ने फोटो देखे तो नोना गांव से लापता चल रहे मोंटी के परिवार वालों को सूचना दी। मोंटी के परिवार वाले मोर्चरी पहुंचे और उन्होंने इस शव की पहचान मोंटी के रूप में की।
पहचान होने के पश्चात पोस्टमार्टम रिपोर्ट के बाद मंसूरपुर पुलिस शव का अंतिम संस्कार कराने के लिए सूरजकुंड श्मशान घाट ले आई। जिसका मोंटी के परिजनों ने विरोध करते हुए कई घंटे हंगामा किया। परिजनों ने कहा कि वे अंतिम संस्कार गांव में ही कराएंगे। हंगामे के बाद परिजन शव लेकर मुजफ्फरनगर के लिए रवाना हो गए। लेकिन देर रात मोंटी को युवती के साथ चंडीगढ़ से बरामद कर लिया गया। इस मामले में आए नए मोड़ के बाद सिर कटे शव को वापस दौराला भेज दिया गया। जिसके पश्चात सिर कटी लाश की कहानी फिर से उलझ गई है।
दरअसल, मंसूरपुर थाना क्षेत्र के नोना गांव निवासी मोंटी चंडीगढ़ में सैलून की दुकान पर काम करता था। 22 अगस्त को मोंटी गांव आया था। 28 अगस्त की रात वह घर से गायब हो गया। मोंटी के खिलाफ गांव के ही एक परिवार ने बेटी के अपहरण की रिपोर्ट दर्ज कराई थी। शव मिलने के बाद मोंटी के परिजनों ने गांव की ही युवती के परिजनों पर हत्या का आरोप लगाया। उन्होंने बताया कि मोंटी की गर्दन पर टैटू बना हुआ था। उसके हाथ पर माता-पिता का नाम लिखा था। शायद इस वजह से ही हत्यारों ने उसकी गर्दन और हाथ काटकर शव फेंका ताकि उसकी पहचान न हो।