लखनऊ। लोकसभा चुनाव में मिली करारी हार के बाद यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ प्रदेश में रोजगार और अन्य मुद्दो को लेकर गंभीर दिखते नजर आ रहे हैं। चुनाव के बाद सीएम योगी ने लखनऊ में अधिकारियों के साथ पहली बैठक की है। इस दौरान योगी ने प्रदेश में रोजगार‚ कानून व्यवस्था, बिजली कटौती, सरकारी योजनाओं की स्पीड को सुधारने के निर्देश दिए हैं।
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को सरकारी विभागों में जल्द वैकेंसी निकालने के निर्देश दिए। मुख्यमंत्री ने कहा कि खाली पड़े पदों पर भर्ती प्रक्रिया जल्द शुरू करें। इसके साथ ही भर्ती कब तक पूरी होगी, इसकी जानकारी भी उत्तर प्रदेश संघ लोकसेवा आयोग को साझा करें।
मुख्यमंत्री ने अलग-अलग विभागों के काम की समीक्षी की। बैठक में अपर मुख्य सचिव एसपी गोयल और अपर मुख्य सचिव (गृह) दीपक कुमार समेत आलाधिकारी मौजूद रहे।
बिजली कटौती पर सीएम सख्त
मुख्यमंत्री ने कहा कि तेज गर्मी और लू का मौसम चल रहा है। प्रदेश के शहर और गांव में अनावश्यक बिजली कटौती न हो ये तय करें। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिया कि ट्रांसफार्मर जलने और ट्रिपलिंग समस्या को जल्द सुधारा जाय। इसके साथ ही अधिकारी फोन उठाएं, और कहीं भी विवाद की स्थिति मौके पर अधिकारी तुरंत पहुंचें।
बजट का सही उपयोग हो
सीएम योगी ने कहा कि विभागों को जारी बजट कब कहां जारी किया गया, इसकी सख्ती से निगरानी करें। फाइनेंस डिपार्टमेंट भी इसकी समीक्षा करे। उन्होंने जीएसटी कलेक्शन बढ़ाने को कहा है। उन्होंने कहा कि फील्ड में तैनात अधिकारियों को टारगेट दें। तकनीकी का उपयोग बढ़ाएं और टैक्स चोरी करने वालों पर सख्त कार्रवाई करें।
खाली पदों पर नियुक्ति की प्रक्रिया तेज करें
आपको बता दें लोकसभा चुनाव में रोजगार और महंगाई एक बड़ा मुद्दा बनकर सरकार के सामने खड़ा रहा। सरकारी भर्ती में लेट-लतीफी और पेपर लीक को लेकर युवा वर्ग बीजेपी और प्रदेश सरकार से काफी खफा है। इसका खामियाजा चुनाव में बीजेपी को भुगतना पड़ा है। माना जा रहा है कि अब योगी सरकार दोनो की मुद्दो पर गंभीर हो चली है‚ सीएम योगी ने भर्तियों को लेकर भी अधिकारियों से जवाब मांगा है। उन्होंने कहा कि सभी विभाग बताएं कि उनके विभागों में खाली पद कितने हैं। इसकी जानकारी जल्द उपलब्ध कराएं। साथ ही बताएं कि इन पदों को परीक्षा कराकर कब तक भर्ती प्रक्रिया पूरी की जा सकती है।
नही संभले तो 2027 में होगी परेशानी
लोकसभा चुनाव में मिले झटके को सीएम योगी ने समय रहते गंभीरता से लिया है‚ माना जा रहा है कि योगी को अहसास हो चला है कि अगर अभी से नही संभले तो 2027 के विधान सभा चुनाव में हालत इससे भी बुरे होने वाले हैं। इसलिए जनता की जरूरतों काे समझते हुए फैसले लेने होंगे।